यूजीसी केयर लिस्टेड जर्नल के समीक्षक मनोनीत हुए डॉ• आनन्द मोहन झा

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भूपेंद्र नारायण मंडल विश्वविद्यालय, मधेपुरा की अंगीभूत इकाई मनोहरलाल टेकरीवाल महाविद्यालय, सहरसा (पूर्व नाम सहरसा कॉलेज, सहरसा), के रसायन विज्ञान के अतिथि सहायक प्राध्यापक डॉ• आनन्द मोहन झा को यूजीसी केयर लिस्टेड जर्नल “इंटरनेशनल जर्नल आफ लाइफसाइंस एंड फार्मा रिसर्च” का समीक्षक मनोनीत किया गया है। समीक्षक मनोनयन के बाद उन्होंने कुछ अंतरराष्ट्रीय देशों के शोधकर्ताओं द्वारा भेजे गए शोध पत्रों की समीक्षा भी की है। इंटरनेशनल जर्नल ऑफ़ लाइफसाइंस एंड फार्मा रिसर्च एक बहुत ही महत्वपूर्ण शोध पत्रिका है। इस शोध पत्रिका का उद्देश्य एशिया एवं अन्य देशों में लाइफसाइंस और फार्मा के सभी क्षेत्रों में उच्च गुणवत्ता वाले शोध प्रकाशित करना है। चयन समिति ने उनकी प्रोफाइल, शिक्षण कार्य, शोध कार्य के आधार पर डॉ• आनन्द मोहन झा को समीक्षक मनोनीत किया तथा एडिटोरियल बोर्ड का सदस्य भी बनाया है। इनको समीक्षक मनोनीत करने से भूपेंद्र नारायण मंडल विश्वविद्यालय, मधेपुरा तथा ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय, दरभंगा दोनों विश्वविद्यालय की गरिमा बढीं है। उनके अभी तक 17 से अधिक शोधपत्र अंतरराष्ट्रीय एवं राष्ट्रीय जर्नल में प्रकाशित हुए हैं। इनमें प्रमुख टेलर एंड फ्रांसिस के सुप्रामोलीक्यूलर केमेस्ट्री जर्नल, हेटेरोसाइक्लिक लेटर्स, इंटरनेशनल जर्नल ऑफ़ लाइफसाइंस एंड फार्मा रिसर्च, जर्नल आफ बायोलॉजिकल एंड केमिकल क्रानिकल्स, एशियन जर्नल ऑफ केमेस्ट्री, इंडियन जर्नल ऑफ हेटरोसाइक्लिक केमेस्ट्री आदि प्रमुख है। वे अब तक 15 से अधिक अंतर्राष्ट्रीय एवं राष्ट्रीय सेमिनार में भाग लिए तथा अपना ओरल प्रेजेंटेशन भी दिए। कुछ जगह इनवाइटेड गेस्ट के रुप में भी अपना व्याख्यान दिए है। इन्होंने अभी तक 200 से अधिक अंतरराष्ट्रीय एवं राष्ट्रीय वेबीनार में भाग लिया है। तथा एक अंतरराष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन सफलतापूर्वक आयोजक सचिव के रूप में भी किए है। इससे पहले भी इन्हे पढ़ाई तथा शोध के क्षेत्र मे उत्कृष्ट योगदान के लिए 12 सितंबर 2020 को बेंगलुरू में ‘एम•टी•सी• ग्लोबल इंस्पायरिंग टीचर अवार्ड, रसायनशास्त्र, से सम्मानित किया गया था। भारत सरकार के द्वारा नीति आयोग से पंजीकृत संस्था एम•टी•सी• ग्लोबल के द्वारा यह अवार्ड मिला था। इन्हे आई• एम• आर• एफ• बेस्ट रिसर्चर अवॉर्ड, रसायनशास्त्र – 2020 से भी सम्मानित किया जा चुका है। इन्हें एकेडमिक एक्सीलेंस अवार्ड से भी नवाजा जा चुका है। डॉ• झा ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय से स्नातक उत्तीर्ण हुए जिसमें उन्होंने पूरे विश्वविद्यालय में रसायन शास्त्र में प्रथम स्थान प्राप्त किया, तथा स्नातकोत्तर में ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के वर्ष 2014 के पीजी के ओवरऑल टॉपर (बेस्ट पोस्टग्रेजुएट) तथा रसायन शास्त्र के टॉपर होने के कारण बिहार के उस वक्त के महामहिम कुलाधिपति जो वर्तमान में भारत के राष्ट्रपति है उनके द्वारा दो गोल्ड मेडल देकर उनको सम्मानित किया जा चुका है। उन्होंने ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय में पहली बार ही पीएचडी के लिए पीआरटी की परीक्षा 2016 में दी और रसायन शास्त्र में प्रथम स्थान प्राप्त किया तथा यूजीसी विनियम 2009 के अंतर्गत पीएचडी की डिग्री भी 2019 में प्राप्त किया। इसके बाद इन्होंने भूपेंद्र नारायण मंडल विश्वविद्यालय मधेपुरा में अतिथि सहायक प्राध्यापक का साक्षात्कार दिया तथा वहां भी इन्होंने पूरे विश्वविद्यालय में साक्षात्कार के उपरांत रसायन शास्त्र में प्रथम स्थान प्राप्त किया तथा इनकी प्रथम पोस्टिंग मनोहरलाल टेकरीवाल कॉलेज सहरसा में हुआ जो सहरसा का एकमात्र पोस्ट ग्रेजुएट अंगीभूत महाविद्यालय है। इनकी रसायनशास्त्र की 2 बुक चैप्टर जो इंटरनेशनल बुक पब्लिशर के द्वारा 2 अलग-अलग पुस्तकों में पब्लिश्ड हो चुकी है, यह अपने आप में बहुत बड़ी बात है। इन्हे आई• एम• आर• एफ• के 119th अंतरराष्ट्रीय अधिवेशन में “यंग साइंटिस्ट अवार्ड” से भी सम्मानित किया जा चुका है तथा इन्हे ‘एम•टी•सी• ग्लोबल डिस्टिंग्विश्ड टीचर अवार्ड, रसायनशास्त्र, से भी सम्मानित किया जा चुका हैं। वह एक यूजीसी का माइनर रिसर्च प्रोजेक्ट भी सफलतापूर्वक पूरा कर चुके है। वह बहुत सारे संस्था के लाइफ टाइम मेंबर भी है। जिनमें एमटीसी ग्लोबल, इंटरनेशनल मल्टीडिसीप्लिनरी रिसर्च फाउंडेशन, इंस्टिट्यूट ऑफ स्कॉलर इत्यादि प्रमुख है। ये सभी कार्य उनके करी मेहनत और गुरुजनों के मार्गदर्शन का ही नतीजा है। इन सभी का श्रेय वे अपने माता पिता एवं गुरुजनों को देते हैं, आज वह जो कुछ भी हैं वह अपने माता पिता एवं गुरुजनों के आशीर्वाद का ही फल है। डाॅ• झा की इस उपलब्धि से संपूर्ण मिथिलांचल ,कोसी एवं सीमांचल में हर्ष का माहौल कायम है।

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